बुधादित्य योग


नमस्कार दोस्तों ,

आज हम कुण्डली  में  बनने वाले बुधादित्य योग का जातक की कुण्डली के सभी 12 भावो में होने का क्या फल होता है। 




कुण्डली में जब सूर्य और बुध एक भाव में स्थित होते हैं तो बुधादित्य योग बनता है। ज्योतिष में यह योग  राजयोग के समान ही माना जाता  है। 

कुण्डली में 12 भाव होते हैं और हर भाव में इस योग का फल अलग होता है, यहां जानिए जातक के किस भाव में बुधादित्य योग का कैसा फल होता है।

जातक के  लग्न में बुधादित्य  योग हो तो जातक को मान, सम्मान, प्रसिद्धि, व्यवसायिक सफलता तथा अन्य कई प्रकार के शुभ फल प्राप्त होते हैं।

जातक के दूसरे भाव में बुध-आदित्य योग जातक को धन, संपत्ति, ऐश्वर्य, सुखी वैवाहिक जीवन और अन्य कई प्रकार के शुभ फल प्रदान करता है।

जातक के तीसरे भाव में बनने वाला बुधादित्य योग जातक को बहुत अच्छी रचनात्मक क्षमता प्रदान करता है। इसकी वजह से जातक रचनात्मक क्षेत्रों में सफलता प्राप्त करता है। इस योग के  जातक सैन्य सेवा या पुलिस  सेवा में कोई बड़ा पद प्राप्त कर सकता है।

जातक के चौथे भाव में बुधादित्य योग हो तो जातक सुखी वैवाहिक जीवन, ऐश्वर्य, सुंदर और सुविधाजनक घर और वाहन सुख, विदेश यात्रा आदि जैसे शुभ फल प्राप्त होते हैं।

जातक के पांचवें भाव में बुध-आदित्य योग होने पर जातक को कलात्मक क्षमता, नेतृत्व क्षमता तथा आध्यातमिक शक्ति प्राप्त होती है। जिसके चलते ऐसा जातक अपने जीवन के अनेक क्षेत्रों में सफलता प्राप्त कर सकता है।

जातक के छठे भाव में स्थित बुधादित्य योग जातक को एक सफल अधिवक्ता , न्यायधीश , चिकित्सक, ज्योतिषी आदि बना सकता है। इस योग से जातक अपने व्यवसाय से बहुत धन तथा ख्याति अर्जित कर सकता है।

जातक के सातवें घर में स्थित बुधादित्य योग जातक के वैवाहिक जीवन को सुखी बना सकता है और सामाजिक प्रतिष्ठा वाला कोई पद भी दिला सकता है।

जातक के आठवें घर में बनने वाला बुधादित्य योग जातक को किसी पैतृक सम्पति  आदि के माध्यम से धन प्राप्त करवा सकता है तथा यह योग जातक को आध्यात्म  के क्षेत्रों में भी सफलता प्रदान कर सकता है।

जातक के नवम भाव में बनने वाला बुधादित्य योग जातक को उसके जीवन के अनेक क्षेत्रों में सफलता प्रदान कर सकता है तथा इस योग के शुभ प्रभाव में आने वाले जातक सरकार में मंत्री पद अथवा धार्मिक संस्था का संचालन  कर सकते हैं।

10 जातक के दसवें भाव में बनने वाला बुधादित्य योग जातक को उसके व्यवसायिक क्षेत्र में सफलता प्रदान करवा  सकता है। 

11 जातक के ग्यारहवें भाव में बनने वाला बुधादित्य योग जातक को धन प्रदान करवाता है तथा इस प्रकार के बुध-आदित्य योग के प्रभाव में आने वाला जातक सरकार से धन और मान सम्मान  प्राप्त करता है।

12 जातक के बारहवें भाव में बनने वाला बुधादित्य योग जातक को विदेश में सफलता और लाभ दिलवाता है। 

मित्रो मैंने आपको बुधादित्य योग और जातक की कुण्डली में स्थित होने वाले सभी 12 भावो का फल का विवेचन किया।  यदि आपकी कुण्डली में यह योग विध्यमान है और आशानुरूप फल प्राप्त नहीं हो रहे है तो आप किसी योग्य ज्योतिष की सलाह से इसके सुभ और अशुभ  होने की जानकारी हासिल करे फिर इसको सुभ फल प्राप्ति हेतु उपाय करे और इसको अपने अनुकूल करके अपना जीवन आनंदित करे ।  

            ।। जय श्री कृष्ण।। 

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